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करने पर सभी प्रकार की बाधाओं का निवारण
होता है एवं कामना-पुर्ति होती है।
२॰ किसी शनिवार को, यदि उस दिन 'सर्वार्थ-
सिद्धि योग' हो, तो और भी उत्तम, सांय-काल
अपनी लम्बाई के बराबर लाल रेशमी सूत नाप ले। फिर
एक पत्ता बरगद का तोड़े। उसे स्वच्छ जल से धो-कर
पोंछ ले। तब पत्ते को बहते हुए जल में प्रवाहित कर दें।
इस प्रयोग से सभी प्रकार की बाधाएँ दूर होती है
और कामनाओं की पुर्ति होती है।
३॰ रविवार के दिन पुष्य नक्षत्र में, एक काला कौआ
या काला कुत्ता पकड़े। उसके दाएँ पैर का नाखून
काटें। इस नाखून को ताबीज में भर कर, धूप-दीपादि
से पूजनकर, धारण करें। इससे आर्थिक बाधा दूर होती
है। नौकरी, साक्षात्कार आदि में सफलता की
प्राप्ति होती है। कौए या काले कुत्ते में से किसी
एक का नाखून लें। दोनों का एक साथ प्रयोग न करें।
४॰ प्रत्येक प्रकार के संकट निवारण के लिए भगवान्
गणेश की मूर्ति पर कम-से-कम २१ दिन तक थोड़ी-
थोड़ी 'जावित्री, चढ़ावे और रात को सोते समय
थोड़ी जावित्री खाकर सोवे। यह प्रयोग २१ दिनों
तक अवश्य करे अथवा ४२, ६३ या ८४ दिनों तक करे।